जेएनयू छात्रसंघ चुनाव में अभाविप का शानदार प्रर्दशन, वैभव मीणा संयुक्त सचिव

 निर्वाचित, काउंसिल की 42 में से 23 सीटों पर विजय

जेएनयू छात्रसंघ चुनाव में अभाविप का शानदार प्रर्दशन, वैभव मीणा संयुक्त सचिव

नई दिल्ली । अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद (अभाविप) ने जवाहरलाल नेहरू विश्वविद्यालय (जेएनयू) छात्रसंघ चुनाव में शानदार प्रदर्शन किया। हालांकि वामपंथी गठबंधन ने चार में से तीन शीर्ष पदों पर अपना दबदबा कायम रखा। अभाविप के हिस्से में एक पद आया। आइसा के नीतीश कुमार को अध्यक्ष, डीएसएफ की मनीषा को उपाध्यक्ष, डीएसएफ की मुन्तेहा फातिमा को महासचिव और अभाविप के वैभव मीना को संयुक्त सचिव निर्वाचित किया गया।

मतगणना के दौरान अधिकांश समय अभाविप के उम्मीदवार सभी केंद्रीय पैनल पदों पर आगे रहे। यह जेएनयू में पारंपरिक वामपंथी प्रभुत्व के लिए एक मजबूत चुनौती को दर्शाता है। नतीजों में हार का अंतर बहुत कम रहा। यह कैंपस में महत्वपूर्ण बदलाव का संकेत है। अभाविप के नवनिर्वाचित संयुक्त सचिव वैभव मीणा ने कहा कि संगठन ने एक दशक के बाद यह जीत हासिल की है। अगले चुनाव में संगठन सभी शीर्ष चार पदों पर जीत हासिल करेगा।

कैंपस हिंसा के कारण देरी के बाद 25 अप्रैल को हुए चुनाव में लगभग 5,500 विद्यार्थियों ने मताधिकार का प्रयोग किया। अभाविप जेएनयू के इकाई अध्यक्ष राजेश्वर कांत दुबे ने बताया कि रविवार काे अभाविप ने जेएनयूएसयू काउंसिल में 42 में से 23 सीटों पर विजय प्राप्त कर काउंसिल में पचास प्रतिशत से अधिक की उपस्थिति पर कब्जा कर लिया है। जेएनयूएसयू के फैसलों में अब अभाविप को अहम जगह प्राप्त हो सकेगी। यह विजय अभाविप के रूप में उस सकारात्मक बदलाव की विजय है जिसे जेएनयू के छात्रों ने चुना है। अभाविप का 1999 के बाद यह सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है। संगठन ने स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग में जीत हासिल की और स्कूल ऑफ सोशल साइंसेज, इंटरनेशनल स्टडीज और संस्कृत और इंडिक स्टडीज में उल्लेखनीय बढ़त हासिल की।

अभाविप का प्रदर्शन
-स्कूल ऑफ इंटरनेशनल स्टडीज की 5 में से 2 सीटों पर जीत।
-स्कूल ऑफ सोशल साइंस की 5 में से 2 सीटों पर जीत।
-स्कूल ऑफ बायोटेक्नोलॉजी की 2 में से 1 सीट पर जीत।
-स्पेशल सेंटर फॉर मॉलिक्यूलर मेडिसिन की 1 में से 1 सीट पर जीत।
-स्कूल ऑफ कम्प्यूटेशनल एंड इंटीग्रेटिव साइंस की 2 में से 1 सीट पर जीत।
-स्कूल ऑफ कंप्यूटर एंड सिस्टम साइंस की 3 में से 2 सीटों पर जीत।
-स्कूल ऑफ इंजीनियरिंग की 4 में से 4 सीटों पर विजय।
-स्पेशल सेंटर फॉर नैनोसाइंस की 1 में से 1 सीट पर जीत।
-स्कूल ऑफ संस्कृत एंड इंडिक स्टडीज की 3 में से 3 सीटों पर जीत।
-अमलगमेटेड सेंटर की 2 में से 2 सीटों पर जीत।
-स्कूल ऑफ एनवायरनमेंटल साइंस की 2 में से 1 सीट पर जीत।
-अटल बिहारी वाजपेयी स्कूल ऑफ मैनेजमेंट एंड एंटरप्रेन्योरशिप की 1 में से 1 सीट पर जीत।
-स्कूल ऑफ फिजिकल साइंस की 3 में से 2 सीटों पर जीत।

ऐतिहासिक बदलाव का संकेत
स्कूल ऑफ सोशल साइंस को जेएनयू में वामपंथ का गढ़ माना जाता रहा है।यहां अभाविप ने 25 वर्ष बाद दो सीटों पर विजय प्राप्त कर एक ऐतिहासिक बदलाव का संकेत दिया है। स्कूल ऑफ इंटरनेशनल स्टडीज भी लंबे समय से वामपंथी प्रभाव का प्रमुख केंद्र रहा है। यहां भी अभाविप ने दो सीटों पर विजय हासिल कर नई राजनीतिक धारा को स्थापित किया है। केंद्रीय पैनल की चारों प्रमुख सीटों अध्यक्ष- शिखा स्वराज, उपाध्यक्ष- निट्टू गौतम, महासचिव- कुणाल राय और संयुक्त सचिव-वैभव मीणा ने शानदार प्रदर्शन किया।

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