हाई कोर्ट के आदेश को नजरअंदाज कर रहे हैं ईट भट्ठा संचालक
प्राथमिक विद्यालय में ईट भट्ठा को बंद करने की मांग
लखनऊ। हाई कोर्ट के सख्त आदेश के बावजूद राजधानी के नगर निगम की सीमा और आसपास के जनपदों में ईट्ट भट्ठा का संचालन बेधड़क से चालू है। इन भट्ठा से निकलने वाले जहरीला धुआं तथा प्रदूषण की वजह से बच्चों बुजुर्गों महिलाओं को अस्थमा की बीमारी दमा की बीमारी कैंसर और सांस लेने की बीमारी से जूझना पड़ रहा है। बख्शी तालाब के गुडंबा क्षेत्र में कम से कम एक दर्जन इट भट्टे नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए चल रहे हैं।
बक्शी का तालाब के गुडंबा क्षेत्र के रजौली ग्राम में चलने वाले गोल्ड मार्का ईट भट्टे का संचालन से बच्चों बुजुर्गों और महिलाओं को हो रही बीमारियों को देखते हुए किसान यूनियन राजू गुट के पदाधिकारी ने मुख्यमंत्री, जिलाधिकारी, प्रदूषण विभाग,खनन विभाग,बाल श्रम विभाग मैं शिकायत पत्र भेज कर गोल्ड मार्का ईट भाटा को बंद करने की मांग की है।
ज्ञात हो कि हाईकोर्ट ने ईट्ट भत्तों से लोगों को हो रहे नुकसान को देखते हुए राजधानी के आसपास के जनपदों और नगर निगम में सीमा शामिल सभी ईट् भत्तों को बंद करने का आदेश दिया था लेकिन आज भी हाई कोर्ट के आदेश को ठेंगा दिखाते हुए बक्शी के तालाब में कई ईट भत्ते संचालित है।
नियमों की धज्जियां उड़ते हुए गोल्ड मार्का ईट भट्ट का संचालन प्राथमिक विद्यालय से मात्र डेढ़ सौ मीटर की दूरी पर हो रहा है यहां पढ़ने वाले बच्चे को सांस लेने आंखों में जलन और उल्टी की दिक्कत का सामना करना पड़ रहा है। ईट भट्ट रजौली गांव से सटा हुआ है इससे यहां रहने वाले बुजुर्ग महिलाएं, पुरुष और युवा भी जहरीले धुएं का सामना कर रही है यहां के प्राथमिक विद्यालय में पढ़ने वाले संतोष का कहना है ईट भट्टे से जो जहरीला धुआं निकलता है उससे हमारी आंख में हमेशा जलन रहती है।
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